◾️ घर्षण जनित बेरोजगारी
एक रोजगार छोड़कर दूसरे रोजगार प्राप्त के मध्य की अवधि
◾️चक्रीय बेरोजगारी
यह बाजार में उत्पन्न मंदी के कारण मांग की कमी से उत्पन्न होती है और मांग बढ़ने पर समाप्त हो जाती है जैसे विकसित देशों में
◾️संरचनात्मक बेरोजगारी
कौशल की कमी योग्यता रोजगार के अनुरूप काम ना मिल पाने की स्थिति
◾️ मौसमी बेरोजगारी
कृषि क्षेत्र में मौसम के अनुसार काम तथा शेष समय में बेरोजगारी
◾️प्रच्छन्न बेरोजगारी
किसी काम में आवश्यकता से अधिक लगे हुए लोग जिनको निकालने पर उत्पादन का स्तर समान
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